जु आजकाल ढक्या मोर द्वार भी खपचौणू कुंडा बिछ्वा हलकौणू दुरू बटिन ही सनकौणू धै-धाद लगौणू राजी...
राजनीती
मतदान जरूर कर्या भला मनपसंद स्वच्छ ईमानदार तै विधानसभा पौछाया पर नेतौ का बाना आपस मा ना...
१८वीं सदि मा प्रबल गढ़वाळ राज्या परसिद्ध अर जण्या-मण्या दीवान कृपाराम डोभाल का वंशज श्रीराम डोभाल जी...
जैंकु बुबा थाणेदार वींका खुंगला पुरस्कार जैंकु अपणु न पर्या वीं तैं प्वोर मु धर्या जैका मुंड...
बिस्वास छ मि तैं सक नी क्वी भोळ जरूर होलु सुख-चैन भोळ नि होलु आजै तरां भोळ...
बडूली एक गढ़वाली शब्द है, जिसका हिंदी में शाब्दिक अर्थ होता है हिचकी आना और हमें हिचकी...
तुम भी सुणा, मिन मी सुणी, लोग बुन्ना समाज बदलीगे, सुविधाओं कु दौर अयुं चा, लोग बुन्ना...
गढ़वाल में जिस प्रकार से ब्राह्मण तीन भाग में विभक्त हैं, क्षत्रिय यहां दो भागों में विभक्त...
गढ़वळि भारत के उत्तराखण्ड राज्य में बोली जाने वाली एक प्रमुख भाषा है। जो की विलुप्ती की...
लेजान्दी दाँ हौल, देन्दी दाँ लाखड़ु । कखी डालु ढली, खक गोजु मारी । जन मेरी गौड़ी...