(वियतनामी लोक कथा )
अनुवाद: 250 से बिंडी कथा रचयिता : भीष्म कुकरेती
क्या तुम तै ज्ञान च बल केवल मादा मच्छर ही कटदि अर ल्वे पींदी ?
भौत पैलै क छ्वीं छन। वियतनामौ गां म टॉम एक पति अर वैकि कज्याण न्हाम रौंदि छे। टॉम खेती करदो छौ तो पति रेशमौ कीड़ा पाळदि छे।
टॉम बड़ो परिश्रमी छौ तो न्हान तैं जीवन म भोग विलास की अभिलाषी , आकांक्षी छे।
एक दिन न्हान एकदम अस्वस्थ ह्वे गे अर टॉम तब खेतों म जयूं छौ। जब वो घर आयी तो तब तक न्हान मोर गे छे। टॉम घुंड टेकि ईश्वर से प्रार्थना करण लग गे। इथगा म आकाशवाणी ह्वे कि वो न्हान क शव तैं समुद्र क मध्य एक पहाड़ी पर ले जाई।
भौत दिनों क जात्रा उपरान्त टॉम न्हान क शव लेकि तैं पहाड़ी पर ली पौंछ। वैन तख फूलों क उपवन म शव तैं पडाळ दे। शिथिलता से वैक बुरु हाल छा। वैक आँख बजेण इ वळ छौ कि एक सफेद दाढ़ी वळ , तारा सि चमकण वळ आँख वळ महापुरुष आयी। तै महापुरुष न टॉम से ब्वाल ,” तू म्यार शिष्य बणी शान्ति से ये हि स्थान म रौ” ।
टॉम न चिंता बताई कि वो अपर पत्नी बिन नि रै सकदु।
महापुरुष न पुळेक टॉम कुण ब्वाल कि अपर अंगुळी काटि रक्त न्हान क शव पर चुंवै दे। टॉम न उनि कार। जनि रक्त की बूँद न्हान क शव म पोड़िन कि न्हान चड़म खड़ ह्वे गे। इनम महापुरुष न न्हान तैं चेतावनी दे कि यदि वा परिश्रमी नि बौणलि तो डंड भागी ह्वेलि। अर इन बोलिक महापुरुष अंतर्धान ह्वे गे।
टॉम अर न्हान नाव म बैठि चलण लगिन। बाट म एक गाँव म भोजन पदार्थ मूल्याणो बान टॉम नव से उतरिक गां जिना चल गे तो न्हान नाव म इखुलि छे। तबि तौंक नाव क बगल म एक धनी मनिखाक नाव आयी अर वै धनी न न्हान तै चाय पर निमंत्रित कार। धनी क नाव म जैक वीं चा पे। तब धनी न न्हान क सुंदरता की बड़ैं कार अर ब्यौवक प्रस्ताव दे कि वू वीं तै महल म रानी जन राखल । न्हान क तो यू इ तो सपना छा कि महल म रावो अर ढेरों सेवक होवन। वा धनी मनिखाक दगड़ चल गे।
जब टॉम सामग्री लेक बौड़ी आयी तो न्हान नव म नि छे। नावक नाविक न बोल कि वा तो धनी पुरुषक दगड़ चल गे। टॉम क्रोधित ह्वे अर धनी क महल जिना चल गे। तख वो सेवकों से धनी पुरुष मिलणो प्रार्थना करण इ वाळ छौ कि वैन न्हान तैं बागवान म द्याख। न्हान चकित छे। वींन टौम कुण ब्वाल कि वा महल म प्रसन्न च अर वींन टॉम दगड़ नि जाण।
टॉम न ब्वाल बल वो वीं तैं लीणो नि आयुं च अपितु वो तीन बूँद रक्त की वापस लीणो आयुं च जो वैन न्हान क शव पर चुंवै छौ।
या बात सूणि न्हान प्रसन्न ह्वे कि वापस नि जाण अर केवल रक्त की तीन बूँद ही तो वापस दीण , वींन गुलाब क कांड अपर बांह पर पुडाइ अर रक्त बूंद टॉम क हथ म चुवाण लग गे , जनि तिसर बूंद चुंवे कि न्हान सिकुड़ण लग गे अर कुछ ही क्षणों म मछरी बण गे। अब वा मछरी टॉम क मुंड म चक्कर काटणी छे जन बुल्यावो वा क्षमा मंगणी छे।
धोखाधड़ी म मौत ही हूंद।